मगरलोड : अवैध रेत उत्खनन को लेकर ग्राम पंचायत करेली बड़ी के ग्रामीणों ने अब मोर्चा खोल दिया है। जिला प्रशासन के सामने कोई सुनवाई नहीं होने के बाद ग्रामीण अब आंदोलन का रुख अपना लिए है। करेली बड़ी के ग्रामीण अब अवैध रेत उत्खनन को रोकने की मांग को लेकर अनिश्चित कालीन धरने पर बैठ गए है। सुबह से ही करीब 1500 से अधिक ग्रामीण सत्यनारायण मंदिर के सामने लामबंद होकर जिला प्रशासन समेत खनिज विभाग के आला अधिकारियों के खिलाफ जमकर नारे-बाजी कर रहे है।
वहीं ग्रामीणों ने खनिज विभाग के अधिकारियों पर ठेकेदार के साथ मिलीभगत का भी आरोप लगाया है। ग्रामीणों का कहना है कि ग्राम पंचायत से होकर बहने वाली महानदी से खनिज विभाग और ठेकेदारों की साठ गांठ से अवैध उत्खनन किया जा रहा है। इसके साथ ही खुले तौर पर एनजीटी के नियमों का उल्लंघन किया जा रहा है। लेकिन जिले के खनिज अधिकारी मूकदर्शक बने हुए है। न तो इन रसूखदार नेताओं के करीबी ठेकेदारों पर कोई कार्रवाई हो रही है और न ही मशीनों पर जब्त किया जा रहा है।
इससे पहले ग्रामीणों में गांव के देशी शराब दुकान को बंद करवाने के लिए एक जुट हुए थे। हजारों की तादाद में ग्रामीण शराब दुकान को बंद करने की मांग को लेकर उग्र प्रदर्शन किये थे। जिसके बाद पूरा प्रशासन हरकत में आया था।
बता दें कि करेली बड़ी के हजारों ग्रामीण रेत खदान में मशीनों से उत्खनन बंद कराने और स्थानीय ग्रामीणों को रोजगार दिलवाने की मांग को लेकर कलेक्टर से मुलाकात की थी। इस मुलाकात के बाद भी ग्रामीणों को निराशा हाथ लगी। जिला प्रशासन के नौकर शाह ग्रामीणों की मांगों को नजरअंदाज कर दिया। इसके बाद से गुस्साए ग्रामीणों ने अब आंदोलन का रुख अपनाया है।
गौरतलब है कि धमतरी जिले के मगरलोड विकासखंड से अवैध रेत उत्खनन को लेकर लगातार मामले सामने आते है। सफेदपोश नेताओं के करीबी ठेकेदारों पर एनजीटी के नियमो का उल्लंघन करने का आरोप लगते है। वही इस क्षेत्र में रेत माफियां लगातार सक्रिय है।