राजधानी दिल्ली के प्रतिष्ठित छत्रसाल स्टेडियम में गतिविधियां फिर से शुरू हो गई हैं, लेकिन पहलवानों को प्रैक्टिस के फिर से शुरू करने के लिए सरकार के दिशानिर्देशों के अनुसार कॉम्प्लेक्स में कोई भी संपर्क प्रशिक्षण करने की फिलहाल मनाही है। इस तथ्य को ध्यान में रखते हुए कि कोरोना वायरस महामारी के कारण भविष्य में कोई प्रतियोगिता नहीं है, इसलिए पहलवान और उनके कोच खुद भी व्यक्तिगत प्रशिक्षण को लेकर चिंतित नहीं हैं।
यूनाइटेड वर्ल्ड रेसलिंग (यूडब्ल्यूडब्ल्यू) के अनुसार, लीग के संशोधित कैलेंडर को इस महीने की शुरुआत में जारी किया गया था। उस कैलेंडर के अनुसार, रेसलिंग वर्ल्ड चैंपियनशिप का आयोजन इस साल दिसंबर में सर्बिया के बेलग्रेड में आयोजित की जा सकती है। दो बार के ओलिंपिक मेडलिस्ट ने कहा है कि अभी वह व्यक्तिगत रूप से टूर्नमेंट में भाग लेंगे या नहीं, इस पर कोई निर्णय नहीं ले सकते।
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सुशील ने आईएएनएस से कहा, ‘अभी यह कहना मुश्किल है। देश और दुनिया की हालत एक जैसी ही है। अभी मुख्य प्राथमिकता कोविड-19 से सुरक्षित रहना है। बाद में देखेंगे कि क्या होता है।’
37 वर्षीय रेसलर उन पहलवानों में से एक हैं, जिन्होंने छत्रसाल स्टेडियम में प्रशिक्षण शुरू कर दिया है। उन्होंने कहा, ‘केंद्र और दिल्ली सरकार के निर्देशों के अनुसार छत्रसाल स्टेडियम में प्रैक्टिस शुरू कर दी है। कुछ दिनों के लिए मैं अलग ही प्रशिक्षण करूंगा।’
तोक्यो ओलिंपिक का टिकट कटा चुके युवा पहलवान दीपक पूनिया, रवि दहिया और कॉमनवेल्थ गेम्स के गोल्ड मेडलिस्ट सुमित मलिक सहित कई पहलवानों ने छत्रसाल स्टेडियम में अपनी ट्रेनिंग शुरू कर दी है। उनके कोच और दिग्गज पहलवान सतपाल सिंह ने सोशल मीडिया पर एक वीडियो पोस्ट किया है, जिसमें करीब 30 पहलवान ट्रेनिंग पर लौट आए हैं।
2010 के वर्ल्ड चैंपियनशिप के गोल्ड मेडलिस्ट सुशील ने कहा, ‘संपर्क में ट्रेनिंग अब तक शुरू नहीं की गई है। अभी के लिए केवल व्यक्तिगत प्रशिक्षण पर ही ध्यान लगाया जा रहा है।’